रिपोर्ट:
मध्यप्रदेश हाईकोर्ट ने जबलपुर में शराब विक्रय में एमआरपी से अधिक मूल्य वसूली पर गंभीर रुख अपनाते हुए संबंधित अधिकारियों को नोटिस जारी किया है। यह मामला एक जनहित याचिका के माध्यम से सामने आया, जिसे एडवोकेट दीपांशु साहू द्वारा दाखिल किया गया था।
याचिका में कहा गया है कि शराब विक्रेताओं द्वारा एमआरपी से अतिरिक्त राशि वसूलने के बावजूद कोई रसीद या टैक्स भुगतान नहीं किया जा रहा है। ये सब कुछ आबकारी विभाग की मौन स्वीकृति के अंतर्गत हो रहा है।
हाईकोर्ट की युगलपीठ ने आबकारी आयुक्त, जिला आबकारी अधिकारी जबलपुर, कमर्शियल टैक्स अधिकारी भोपाल सहित अन्य अधिकारियों को पक्षकार बनाते हुए चार सप्ताह के भीतर जवाब प्रस्तुत करने के निर्देश दिए हैं।
यह प्रकरण न केवल कर चोरी का गंभीर मामला है, बल्कि प्रशासनिक जवाबदेही पर भी सवाल खड़ा करता है।
